"गीत"




"नर्मदा की बालु"

नर्मदा मैया की रेता बही रे
रेता बही रे जैसे शक्कर की रास रे
नर्मदा मैया हो ।
पलते मजदूर अब कहाँ जांयें रे
नर्मदा मैया हो।

अनिलकुमार सोनी


टिप्पणियाँ